मुझे राजदूत दनियार कुर्बानोव; मनीष प्रभात; दिलशोद अखतोव, संवाद के तीन सत्रों के –संयोजक राजदूत अशोक सज्जनहार, डॉ. उमिद अबिदजाएव और राजदूत स्कंद तायल का स्वागत करते हुए अपार प्रसन्नता हो रही है। मैं भारत-उज्बेकिस्तान थिंक टैंक फोरम 2022 के तीसरे संस्करण में सभी प्रतिभागियों का गर्मजोशी से स्वागत करती हूं। हम आईसीडब्ल्यूए के साथ मिलकर काम करने के लिए राजदूत दनियार कुर्बानोव को धन्यवाद देते हैं। उनकी वजह से ही संवाद का आयोजन संभव हो पाया है।
2. भारत-उज्बेकिस्तान थिंक टैंक फोरम हमारे दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय शैक्षणिक जुड़ाव के लिए एक प्रभावी तंत्र के रूप में विकसित हो रहा है। महामारी के समय में भी नियमित रूप से इसकी बैठकें होती रहीं। फोरम की पिछली बैठक फरवरी 2021 में आयोजित की गई थी और अब हम 2022 की वार्षिक बैठक आयोजित कर रहे हैं। कोविड महामारी की वजह से यह बैठक वर्चुअल हो रही है।
3. आज की बैठक तब हो रही है जब मध्य एशियाई क्षेत्र के देशों के साथ भारत के राजनयिक संबंध 30 साल के महत्वपूर्ण पड़ाव पर पहुंच गए हैं। हमारे संबंधों में अच्छी प्रगति हुई है; और मध्य एशियाई क्षेत्र ने स्वयं इन वर्षों में विकास और देखा है प्रगति देखी है।
4. भारत-उज्बेकिस्तान संबंधों को प्रोत्साहन हमारे नेतृत्व और द्विपक्षीय और बहुपक्षीय स्तरों पर नियमित वार्ता से मिलता है। दोनों देश 2011 से रणनीतिक साझेदार हैं। हाल के वर्षों में ये संबंध और मजबूत हुए हैं। 2015 और 2016 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उज्बेकिस्तान यात्रा और 2018 और 2019 में राष्ट्रपति शौकत मिर्जियोयेव की भारत यात्राओं ने इन संबंधों को और गति दी है।
5. उज्बेकिस्तान में अक्टूबर 2021 में राष्ट्रपति चुनाव हुए थे जिसमें भारत के विशेषज्ञों को अंतर्राष्ट्रीय पर्यवेक्षकों के रूप में आमंत्रित किया गया था। इसमें आईसीडब्ल्यूए के विशेषज्ञ भी शामिल थे। इनमें से कुछ आज के इस कार्यक्रम में भाग ले रहे हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति मिर्जियोयेव को फिर से चुने जाने पर बधाई देते हुए कहा कि उन्हें विश्वास है कि भारत-उज्बेकिस्तान रणनीतिक साझेदारी और मजबूत होगी। उज्बेकिस्तान के साथ हमारे संबंध भारत की महाद्वीपीय रणनीति का एक महत्वपूर्ण घटक हैं।
6. हमारे पड़ोस में अप्रत्याशित घटनाक्रम हो रहे हैं, जिससे हमारे नियमित परामर्श आपसी समझ तथा विश्वास को और बढ़ाना और अधिक महत्वपूर्ण हो जाता है। पिछले साल अगस्त के बाद से अफगानिस्तान में हुए घटनाक्रम और वहां किसी भी ठोस रचनात्मक विकास की कमी न केवल अफगानों के बीच, बल्कि मध्य एशिया और भारत के लोगों के बीच भी चिंता का कारण रही है। हमें आपस में जोड़ने वाले घटकों की अस्थिरता और असुरक्षा हम दोनों के लिए बड़ी चिंता का विषय है। हम कजाकिस्तान में होने वाली घटनाओं पर भी नजर रख रहे हैं।
7. भारत अफगान लोगों को मानवीय सहायता दे रहा है। हम एक तरह से एक दूसरे से जुड़ी चुनौतियों का सामना कर रहे हैं। अफगानिस्तान का पड़ोसी होने के नाते उज्बेकिस्तान की भूमिका महत्वपूर्ण हो जाती है और इस संबंध में भारत-उजबेकिस्तान के संयुक्त प्रयास उपयोगी हो सकते हैं।
8. आतंकवाद, उग्रवाद और मादक पदार्थों की तस्करी क्षेत्रीय शांति और सुरक्षा को प्रभावित कर रही है। प्रौद्योगिकी के बढ़ते उपयोग के साथ साइबर स्पेस की सुरक्षा बहुत अधिक महत्वपूर्ण होती जा रही है। हमें अपने सामने आने वाली सभी चुनौतियों से निपटने के लिए अपना सहयोग बढ़ाना चाहिए।
9. हम सभी अपने राजनीतिक, सांस्कृतिक और आर्थिक सहयोग के लाभों को समझते हैं। आपसी लाभ के लिए हमें अपनी पूरी क्षमताओं का पता लगाने की आवश्यकता है। भारत एक बड़ी अर्थव्यवस्था है और हमारे मध्य एशियाई भागीदारों के लिए एक विशाल बाजार है। हम मध्य एशियाई गणराज्यों को मित्र राष्ट्रों के रूप में देखते हैं और इन सभी के लोगों को अपने साथ फिर से जोड़ना चाहते हैं।
10. भारत और उज्बेकिस्तान दोनों ही उज्बेकिस्तान और ईरान के त्रिपक्षीय कार्य समूह सहित चाबहार बंदरगाह के संयुक्त उपयोग तथा आईएनएसटीसी; और एक अंतर्राष्ट्रीय परिवहन और ट्रांजिट कॉरिडोर की स्थापना पर समझौता जिसे अश्गाबात समझौते के रूप में जाना जाता है, जिसमें भारत 2018 में शामिल हुआ था जैसी विभिन्न पहलों और तंत्रों के माध्यम से क्षेत्र में आपसी संपर्क बढ़ाने के लिए ठोस उपाय कर रहे हैं।
11. इसके अलावा, हमारा सहयोग क्षेत्र की बहुपक्षीय कूटनीति में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। उज्बेकिस्तान शंघाई सहयोग संगठन का वर्तमान अध्यक्ष है, और भारत संगठन का अगला अध्यक्ष बनने वाला है। दोनों देश इस संगठन की क्षमता का दोहन करने के लिए सहयोग कर सकते हैं।
12. यह फोरम हमें संबंधित क्षेत्रों में विकास पर विचारों का आदान-प्रदान करने का अवसर प्रदान करता है। हम इस क्षेत्र के वर्तमान और भविष्य में होने वाले घटनाक्रमों के बारे में उज्बेकिस्तान के दृष्टिकोण को जानने के उत्सुक हैं।
मैं आप सभी को धन्यवाद देती हूं और फोरम की सफलता की कामना करता हूं।
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